52. भारत में, विधिक सेवा प्रदान करने वाले प्राधिकरण (Legal Services Authorities), निम्नलिखित में से किस प्रकार के नागरिकों को निःशुल्क विधिक सेवाएं प्रदान करते हैं?
- रु. 1,00,000 से कम वार्षिक आय वाले व्यक्ति को
- रु. 2,00,000 से कम वार्षिक आय वाले ट्रांसजेंडर को
- रु. 3,00,000 से कम वार्षिक आय वाले अन्य पिछड़े वर्ग (OBC) के सदस्य को
- सभी वरिष्ठ नागरिकों को
नीचे दिए गए कूट का प्रयोग कर सही उत्तर चुनिए -
I.A.S. (Pre) 2020
उत्तर-(a)
संविधान में राज्य नीति के निदेशक तत्वों के अनुच्छेद 39-A के अनुसरण में भारत में विधिक सेवा प्रदान करने वाले प्राधिकरण, विधिक सेवा प्राधिकरण अधिनियम, 1987 की धारा 12 के अंतर्गत पात्र व्यक्तियों को निःशुल्क विधिक सेवाएं प्रदान करते हैं। निःशुल्क विधिक सेवाएं प्राप्त करने हेतु निम्न व्यक्ति पात्र होते हैं-
- महिला और बच्चे
- अनुसूचित जाति या जनजाति के सदस्य
- बड़े पैमाने पर प्राकृतिक औद्योगिक आपदा, जातीय हिंसा, बाढ़, सूखा, भूकंप के पीड़ित
- औद्योगिक कामगार
- मानसिक रोगी या दिव्यांग व्यक्ति
- हिरासत में व्यक्ति
- वे व्यक्ति जिनकी वार्षिक आय केंद्र / राज्य सरकार द्वारा अधिसूचित आय सीमा से कम है
- मानव तस्करी या बेगार से पीड़ित व्यक्ति
उपर्युक्त अधिनियम की धारा 12 (h) के अंतर्गत विभिन्न राज्यों या केंद्रशासित प्रदेशों में निःशुल्क विधिक सेवा प्राप्त करने हेतु आय सीमा भिन्न-भिन्न है। यह सीमा कतिपय अपवादों के अतिरिक्त अधिकांश राज्यों में 1,00,000 रु. तक तथा कुछ राज्यों में 1,50,000 रु. या 3,00,000 रु. तक निर्धारित है।
- दिल्ली विधिक सेवा प्राधिकरण 1,00,000 रु. से कम वार्षिक आय वाले सामान्य व्यक्ति तथा 2,00,000 रु. से कम वार्षिक आय वाले ट्रांसजेंडर को निःशुल्क विधिक सेवा प्रदान करता है।
- दिल्ली विधिक सेवा प्राधिकरण 2,00,000 रु. से कम वार्षिक आय वाले वरिष्ठ नागरिकों को भी निःशुल्क विधिक सेवा प्रदान करता है।